Friday, June 15, 2012

राष्ट्रपति चुनाव: प्रणब मुखर्जी को यूपीए के सभी दलों का समर्थन



राष्ट्रपति उम्मीदवार को लेकर शुक्रवार को यूपीए की बैठक में प्रणब के नाम पर सहमति बन गयी.
तमाम अटकलों पर विराम लगाते हुए अंतत: सत्ताधारी संप्रग ने शुक्रवार को वित्त मंत्री प्रणव मुखर्जी को राष्ट्रपति पद का उम्मीदवार घोषित कर दिया.

कांग्रेस के वरिष्ठ नेता 77 वर्षीय मुखर्जी के नाम का प्रस्ताव संप्रग की बैठक में कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने रखा.

करीब एक घंटे चली बैठक में पश्चिम बंगाल से ताल्लुक रखने वाले मुखर्जी के नाम पर मुहर लगी. सोनिया ने कहा कि संप्रग के घटक दलों के नेताओं की बैठक हुई जिसमें यह तय किया गया कि प्रणव मुखर्जी को भारत के राष्ट्रपति पद के लिए उम्मीदवार बनाया जाए.

सरकार के संकटमोचक माने जाने वाले मुखर्जी के नाम को लेकर सोनिया के प्रस्ताव पर घटक दलों के नेताओं ने मंजूरी दे दी. संप्रग की प्रमुख घटक तृणमूल कांग्रेस ने सपा के साथ मिलकर ए पी जे अब्दुल कलाम, सोमनाथ चटर्जी और मनमोहन सिंह का नाम लिया था. आज की बैठक में तृणमूल शामिल नहीं हुई.

सोनिया ने बैठक में बयान पढा, जिसमें कहा गया कि प्रणव मुखर्जी का सार्वजनिक जीवन का पांच दशक का बेहतरीन रिकार्ड है.

उन्होंने कहा कि प्रणव की उम्मीदवारी को लेकर व्यापक समर्थन है. संप्रग सभी राजनीतिक दलों और सभी सांसदों एवं विधायकों से अपील करती है कि वे राष्ट्रपति पद के लिए मुखर्जी की उम्मीदवारी का समर्थन करें.
सूत्रों के मुताबिक खबर यह भी आ रही है कि एनडीए ने भी प्रणब मुखर्जी को समर्थन देने का एलान किया है.

यूपीए और एनडीए के रुख से अब पहले लगायी जा रही अटकलें सही साबित होती नजर आ रही हैं.

ज्ञात हो कि अटकले लगायी जा रही थी कि यूपीए के राष्ट्रपति उम्मीदवार का समर्थन एनडीए करेगा और बदले में एनडीए के उप राष्ट्रपति उम्मीदवार का समर्थन यूपीए करेगा.

इससे प्रणब के राष्ट्रपति बनने और एनडीए उम्मीदवार मुरली मनोहर जोशी के उप राष्ट्रपति बनने का रास्ता लगभग साफ नजर आ रहा है.

वहीं, ममता के साथ रहे मुलायम सिंह यादव भी पूरी तरह से यूपीए के साथ आ गए हैं. अब इस मामले में ममता अलग-थलग पड़ती नजर आ रही हैं.

सपा ने भी किया समर्थन
समाजवादी पार्टी महासचिव रामगोपाल यादव ने भी एलान किया है कि सपा का पूरा समर्थन प्रणव के साथ है.
बीजू जनता दल ने कहा है कि पीए संगमा ही उनके उम्मीदवार हैं.

सोनिया गांधी ने प्रणब के नाम का एलान करते हुए सभी दलों से समर्थन की अपील की है.

वाम दलों ने भी प्रणब मुखर्जी को अपना पूरा समर्थन देने का एलान किया है.

इस तरह से कुछ छोटे दलों को छोड़कर शेष लगभग सभी बड़े दलों ने प्रणब के साथ अपनी सहमति जतायी है.

अब देखना यह है कि तृणमूल कांग्रेस अध्यक्ष ममता बनर्जी का फैसला करती हैं. वह प्रणब के नाम पर अपना समर्थन जताती हैं या फिर केंद्र सरकार से अपना समर्थन वापस लेती हैं.

प्रणब को समर्थन देशहित में: मायावती

बहुजन समाज पार्टी सुप्रीमो मायावती ने राष्ट्रपति पद के उम्मीदवार के नाम पर प्रणब मुखर्जी के नाम का समर्थन किया.
 

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